



बाबा न्यूज
आगरा। बैकुण्ठी देवी कन्या महाविद्यालय की पूर्व प्राचार्य डॉ. सरोज भार्गव की तीन दिवसीय एकल चित्रकला प्रदर्शनी “कृतित्व” का आयोजन सफलता पूर्वक हुआ। आज प्रो. नसरीन बेगम द्वारा चित्र उतारकर समापन हुआ। इस आयोजन को महानगर के विभिन्न महाविद्यालयों के शिक्षकों एवं छात्राओं ने अवलोकन किया। इस प्रदर्शनी की भूरी भूरी प्रशंसा की। प्रदर्शनी में लगे पोर्ट्रेट कंपोजिशन स्टिल लाइफ, लैंडस्केप के चमकते रंग सुंदर संयोजन कलाकार के अंतःभावों की दक्षता ने सभी को प्रभावित किया। डॉ. सरोज भार्गव का यह कार्य वर्तमान पीढ़ी के साथ-साथ अविष्य की पीढ़ी के लिए भी मार्गदर्शन का काम करेगी। जीवन के संध्या काल में कलाकार की यह प्रदर्शनी उनकी कला यात्रा की लंबी पारी की जीवंतता को दिखाता है। इस प्रदर्शनी में शहर के गणमान्य अतिथियों, कला जगत के प्रतिष्ठित कलाकारों, शिक्षकों एवं छात्र-छात्राओं ने प्रत्येक दिन शिरकत की और उनके साथ कला परिचर्चा ने प्रदर्शनी को बहुत सफल बनाया। महाविद्यालय एवं आगरा शहर के लिए यह गौरव के पल है कि उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा पद्मश्री योगेंद्र कला सम्मान-2024 से सम्मानित डॉ. सरोज भार्गव की एकल प्रदर्शनी कृतित्व का आयोजन हुआ। डॉ. सरोज भार्गव ने अपने भावों के उदगार में कहा कि कला अंतर मन के भावों की सशक्त अभिव्यक्ति है। जीवन कला के माध्यम से इस ऊर्जा का प्रकटीकरण किया गया है। मेरी कलाकृतियां ने हृदय की गहराई से अनुभूति और कल्पना ने ब्रश एवं रंगों के संयोजन से यह तपस्या की है। मेरा जीवन कला एवं कला लेखन के लिए ही समर्पित है और यह साधना मेरे जीवन काल में अनवरत चलती रहेगी। समापन के अवसर पर प्रो. नसरीन बेगम ने कहा कि डॉ. सरोज भार्गव के छात्र-छात्राएँ पूरे हिन्दुस्तान में हैं और वह तीन रोज तक लगातार आते रहे यह उनका एक कलाकार होने के साथ उनका व्यवहार ही है जिसने सबको एक धागे में पिरोकर एक खूबसूरत माला का रूप दे दिया है। आखिर में उनकी उम्रदराजी की दुआ के साथ
रिफतें और बुलन्दी भी तुझ पर नाज करें तुम्हारी ये उम्र खुदा और भी दराज़ करें
इस अवसर पर बैकुंठी देवी कन्या महाविद्यालय की कला संकाय की डॉ. बिंदु अवस्थी डॉ. साधना सिंह डॉ. विनीता डॉ. सविता प्रसाद, डॉ. मोना सिंह, डॉ. नसरीन बेगम, साधना भार्गव, राधामुकुल गुप्ता, नंद नंदन गर्ग, ममता बंसल इत्यादि अनेक विद्वान व्यक्ति उपस्थित थे। मंच संचालन बिंदु अवस्थित किया। डॉक्टर साधना सिंह ने डॉक्टर सरोज भार्गव के व्यक्तित्व एवं कृतित्व के बारे में बताया। अंत में डॉक्टर सरोज भार्गव ने चित्रकला से संबंधित बहुमूल्य सूत्र नावी कलाकारों को प्रदान किया। संचालन प्रो. बिन्दु अवस्थी और धन्यवाद डॉ. साधना सिंह ने दिया।